दैनिक प्रार्थना

हमारे मन में सबके प्रति प्रेम, सहानुभूति, मित्रता और शांतिपूर्वक साथ रहने का भाव हो


दैनिक प्रार्थना

है आद्य्शक्ति, जगत्जन्नी, कल्याणकारिणी, विघ्न्हारिणी माँ,
सब पर कृपा करो, दया करो, कुशल-मंगल करो,
सब सुखी हों, स्वस्थ हों, सानंद हों, दीर्घायु हों,
सबके मन में संतोष हो, परोपकार की भावना हो,
आपके चरणों में सब की भक्ति बनी रहे,
सबके मन में एक दूसरे के प्रति प्रेम भाव हो,
सहानुभूति की भावना हो, आदर की भावना हो,
मिल-जुल कर शान्ति पूर्वक एक साथ रहने की भावना हो,
माँ सबके मन में निवास करो.

Tuesday, 25 November 2008

सौ दिन में आतंकवाद समाप्त

मनोनीत प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह जी ने कहा है कि एक उच्च स्तरीय टास्क फोर्स बनाकर वह १००  दिन में आतंकवाद और नक्सलवाद समाप्त कर देंगे. उन्होंने यह भी कहा कि नक्सलवाद आतंकवाद से ज्यादा खतरनाक है. यह बात उन्होंने पहले भी कही थी पर किया कुछ नहीं था. क्या इस बार भी वह सिर्फ़ कहने की आदत के कारण कहने के लिए कह रहे हैं? आडवाणी जी ने उनकी इस बात का मजाक उड़ा दिया और कहा कि १०० दिन में मनमोहन जी की सिर्फ़ कहने वाली सरकार को ही समाप्त कर देना चाहिए. 

हम आडवानी जी से अपील करते हैं कि वह इस तरह मनमोहन जी की बात का मजाक न उड़ाएं. हो सकता है इस बार वह बाकई कुछ करना चाहते हों - 'शायद उनका आखिरी हो यह सितम, हर सितम यह सोच कर हम सह गए'. हम सोनिया जी से भी अपील करते हैं कि इस बार वह मनमोहन जी कुछ कर ही लेने दें. 

8 comments:

संजय बेंगाणी said...

1800 दिनों के पाप 100 दिन में धोने दिये जाय.

Anil Pusadkar said...

sau din to task force banane me hi lag jayenge,uske bad atankavad aur naxalvad khatam karne ke liye fir se sarkar bana do kahenge aur agle janm tak ye samasya khatm nahi karenge kyonki samasya nahi rahegi to netao ko puchhega kaun.

Anonymous said...

अरे रहने दीजिये, हम क्यों बेचारे मनमोहनसिंह को परेशान करें, ये आतंकवाद, फातंकवाद पर क्यों बेचारे सीधे साधे सरदार को उलझाते हो.

आतंकवाद पर लगाम लगाने का काम तो आने वाली नई सरकार कर लेगी.

परमजीत सिहँ बाली said...

jab das saal ke raaj me kuchh naa kar sake to so din me kuan saa teer maar lege.

भारतीय नागरिक - Indian Citizen said...

ek baar mujhe prime minister bana den, main bhi khatm kar doonga, waise sau din to man ji ke paas abhi bhi hain.

makrand said...

loktantra ki jai ho
regards

गगन शर्मा, कुछ अलग सा said...

अभी भी सौ दिन सुनार के मांग रहे हैं। लोहार का हाथ कब दिखेगा ?

राज भाटिय़ा said...

अरे वाह लगता है ताऊ का लठ्ठ हाथ लग गया है? लेकिन उस लठ्ठ को चलने के लिये भी तो..... प्यारे मनमोहन जी आप हमारे संजय बेंगाणी जी की टिपण्णी पर गोर जरुर करे, भाई हम भी सहमत है इन की टिपण्णी से.
धन्यवाद